जोरहाट। भारतीय वायुसेना के लापता विमान आईएएफ एएन32 का अभी तक पता नहीं चल पाया है, हालांकि सर्च ऑपरेशन तेज कर दिया गया। सर्च ऑपरेशन का आज चौथ दिन है जब भारतीय वायु सेना कई संस्थानों की मदद लेकर यह अभियान छेड़े हुए है। गायब विमान का पता लगाने के लिए इसरो के सैटलाइट और अन्य संसाधनों को भी काम में लिया जा रहा है। इसके लिए सुखोई -30, सी-130 जे और अन्य संसाधनों को इस ऑपरेशन में काम में लिया जा रहा है। पत्नि के सामने भरी पायलट ने उड़ान : इस विमान में 29 साल के पायलट आशीष तंवर भी सवार थे।
उनकी पत्नी संध्या असम के जोरहाट के एयर ट्रैफिक कंट्रोल रूम (एटीसी) में तैनात हैं। एएन 32 विमान ने इसी हवाई अड्डे से दोपहर के 12.25 बजे अरुणाचल प्रदेश के मेनचुका के लिए उड़ान भरी थी। इसके बाद 1 बजे विमान से संपर्क टूट गया था। इसरो के सैटेलाइट की ली जा रही मदद : वायुसेना के विमान एएन-32 तथा उसमें सवार 13 लोगों को खोजने के लिए अब तलाशी अभियान युद्धस्तर पर चलाया जा रहा है। इस खोज में वायुसेना के विमानों के साथ नौसेना व थलसेना के हेलीकॉप्टर भी लगे हुए हैं। वहीं, इसरो के कार्टोसैट और रीसैट (रडार इमेजिंग सैटेलाइट) की भी मदद ली जा रही है। उम्मीद है कि अब इस लापता विमान को खोजा जा सकेगा।
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